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मेजूगोरे में अंतरराष्ट्रीय युवा उत्सव मेजूगोरे में अंतरराष्ट्रीय युवा उत्सव  

मेजूगोरे के युवाओं से पोप ˸ येसु पर भरोसा रखें और शांति पायें

मेजूगोरे में अंतरराष्ट्रीय युवा उत्सव मनानेवाले युवाओं को संदेश भेजते हुए संत पापा फ्राँसिस ने प्रोत्साहन दिया है कि वे खुले हृदय से येसु के पास जाने से न डरें, क्योंकि वे ही हैं जो सच्चा विश्राम और सच्ची शांति प्रदान कर सकते हैं। उत्सव में ख्रीस्तयाग की धर्मविधि, जागरण प्रार्थना, आराधना, संगीत एवं नृत्य आदि कार्यक्रम शामिल हैं जो युवाओं के आध्यात्मिक जीवन को प्रेरित एवं नवीकृत करने का अवसर देगा।

उषा मनोरमा तिरकी-वाटिकन सिटी

वाटिकन सिटी, मंगलवार, 2 अगस्त 2022 (रेई) ˸ बोसिन्या – हेरजेगोविना के मेजूगोरे में वार्षिक अंतरराष्ट्रीय युवा उत्सव के लिए हजारों युवा एकत्रित हुए हैं जिसको 1 से 6 अगस्त तक मनाया जा रहा है।

प्रभु पर भरोसा

संत पापा के संदेश को मेजूगोरे पल्ली के प्रेरितिक परिदर्शक महाधर्माधर्माध्यक्ष अलदो कावाल्ली ने पढ़कर सुनाया।

संत पापा ने मेजूगोरे में अंतरराष्ट्रीय युवा उत्सव के अवसर पर युवाओं को येसु के शब्दों की याद दिलायी है जो कहते हैं, "थके मांदे और बोझ से दबे हुए लोगों तुम सब मेरे पास आओ और मैं तुम्हें विश्राम दूँगा। मेरा जूआ अपने ऊपर ले लो और मुझसे सीखो, मैं स्वभाव से नम्र और विनीत हूँ। इस तरह तुम अपनी आत्मा के लिए शांति पाओगे क्योंकि मेरा जूआ सहज और मेरा बोझ हल्का है।" (मती.11,28-30)  

संत पापा ने कहा, "येसु ये शब्द उन लोगों के लिए कहते हैं जो थके-मांदे और बोझ से दबे हुए हैं क्योंकि वे जीवन की कठिनाइयों को समझते हैं कि हमारे हृदयों में घाव, बोझ, अन्याय और चिंताएँ होती हैं।"

उन्होंने कहा कि उनका संदेश हमारे लिए यही है कि हम उनपर विश्वास करें एवं भरोसा रखें, जो बहुधा आसान नहीं होता क्योंकि अंधेरे समय में हम अपने आप में बंद हो जाते हैं, जबकि बाहर निकलने का रास्ता है येसु के लिए अपना हृदय खोलना है, "जो हमें सचमुच प्यार करते हैं।"   

मेजूगोरे
मेजूगोरे

एक-दूसरे के प्रति प्रेम

येसु कहते हैं, "मेरा जूआ अपने ऊपर ले लो और मुझसे सीखो; मैं स्वभाव से नम्र और विनीत हूँ और तुम अपनी आत्मा के लिए शांति प्राप्त करोगे।" अतः संत पापा ने युवा लोगों को प्रोत्साहन दिया कि वे येसु के शिष्य और शांति की उनकी प्रतिज्ञा के वारिस बनें। ऐसा करते हुए वे अपने लिए ईश्वर की इच्छा को पहचान सकते हैं। जूआ जिसके बारे येसु बोलते हैं वह है प्रेम का नियम, आज्ञाएँ जिनको उन्होंने अपने शिष्यों के लिए छोड़ दिया है ˸ एक-दूसरे को प्यार करो जैसा मैंने तुम्हें प्यार किया है" (यो.15,12) क्योंकि जीवन के घावों की सच्ची चंगाई एक-दूसरे के प्रति प्रेम भरे जीवन के रास्ते में हैं जिसका मूल ईश्वर का प्रेम है।

विनम्र होने का साहस

संत पापा ने गौर किया कि येसु के साथ चलने और उनका अनुसरण करने के द्वारा हम उनसे सीख सकते हैं और येसु एक ऐसे स्वामी हैं जो दूसरों पर बोझ नहीं डालते, बल्कि गरीबों एवं दीन लोगों तक पहुँचते हैं एवं स्वयं गरीब और विनीत बन जाते हैं।

इसका अर्थ है कि हमें भी विनम्र बनना है एवं अपनी अज्ञानता और अभिमान को स्वीकार करना है जिसमें हम मानते हैं कि हम अपनी शक्ति से सब कुछ कर सकते हैं, जबकि ऐसा नहीं है। हमें विनम्र होने का साहस करना है एवं अपना हृदय, अपनी आँखें एवं कान ईश्वर के लिए खोलना है तथा प्रभु का अनुसरण करना है।  

मेजूगोरे
मेजूगोरे

सच्ची शांति एवं विश्राम

संत पापा ने युवाओं का आह्वान किया कि वे अपने हृदय में जो कुछ भी है उसे येसु के पास लाने से नहीं डरें जो उन्हें सच्ची शांति और सच्चा विश्राम प्रदान कर सकते हैं।

उन्होंने युवाओं को निमंत्रण दिया कि वे धन्य कुँवारी मरियम के आदर्शों पर चलें जो हमें येसु के पास ले जायेंगे और एक-दूसरे के प्रति दयालु बनने में मदद करेंगे ताकि हम पूर्ण रूप से समझ सकेंगे कि हम सभी ईश्वर के बेटे-बेटियाँ और एक-दूसरे के भाई-बहन बनने के लिए बुलाये गये हैं।

माता मरियम की स्नेही देखभाल

अंत में, संत पापा ने उन्हें धन्य कुँवारी मरियम हमारी स्वर्गीय माता की स्नेही देखभाल को सिपूर्द किया, जिससे कि उनकी मध्यस्थता एवं उनके आदर्शों द्वारा वे अपने ऊपर येसु का अनुसरण करने में उनके विनीत और सहज जूवे ले सकें। पिता ईश्वर जो आपको प्यार करते हैं, वे हर दिन आपको साथ दें, ताकि दूसरों के साथ आपका संबंध, शांति के वरदान का साक्ष्य बने।

मेजूगोरे मरियम तीर्थस्थल
मेजूगोरे मरियम तीर्थस्थल

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02 August 2022, 17:01