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समुद्र पार करते आप्रवासी समुद्र पार करते आप्रवासी  

भूमध्यसागर पार करना ˸ उम्मीद के बदले अपनी जान जोखिम में डालना

भूमध्यसागर में 22 आप्रवासियों की मौत की घटना के बाद, जीआरएस के लिए पश्चिमी अफ्रीकी संयोजक फादर पैट्रिक एतामेसोर ने बतलाया कि युवा क्यों अपना घर छोड़ते और समुद्र में अपनी जान जोखिम में डालते हैं।

उषा मनोरमा तिरकी-वाटिकन सिटी

फादर पैट्रिक ने कहा कि परिस्थिति भयावाह है। उन्होंने यह बात पिछले दिनों भूमध्यसागर में हुई घटना के मद्देनजर कही।

मंगलवार को मौत के शिकार हुए सभी 22 लोग माली के थे। इस हादसे में 61 लोगों को लीबया तटरक्षक बल द्वारा बचा लिया गया है तथा उन्हें मुख्य भूमि में ले लिया गया है।   

फादर पैट्रिक एतामेसोर जेस्विट शरणार्थी सेवा (जीआरएस) के लिए पश्चिमी अफ्रीका के संयोजक हैं, उन्होंने वाटिकन न्यूज से बातें करते हुए बतलाया कि वे "सामान्य लोग" हैं। सामान्य कहने का अर्थ है कि उनमें से अधिकांश युवक-युवतियाँ एवं किशोर-किशोरी हैं जो अपने आसपास कोई उम्मीद नहीं देखते।   

 वे क्या से भाग रहे हैं?

फादर पैट्रिक ने कहा कि पश्चिमी अफ्रीका में परिस्थिति मुश्किल है। साहेल अत्यधिक हिंसा, कमजोर प्रशासन और सत्ता के लगातार परिवर्तन से तबाह है।    

वहाँ जलवायु परिवर्तन का भी असर है जो पूरे प्रांत पर प्रभाव डाल रहा है अतः लोग "जहाँ हैं, वहीं रहने के बजाय इस ख़तरनाक यात्रा से गुज़रना" अधिक पसंद करते हैं।

उन्होंने कहा कि वे जोखिमों से परिचित हैं, और दुःख की बात यह है कि बहुत सारे लोगों की जान चली जाती है एवं वे कभी अपने लक्ष्य तक नहीं पहुँच पाते हैं। भूमध्यसागर में उनकी मौत तक की खबर उनके घरवालों को नहीं मिल पाती है।  

"कई मामलों में, परिवारवाले अपने बेटे और बेटियों के लौटने की प्रतीक्षा अभी भी कर रहे हैं, यह सोचकर कि उनके बच्चे समुद्र पार चले गये हैं और वे जीवित हैं तथा काम कर रहे हैं। जबकि वास्तव में, यात्रा करते हुए बहुत सारे लोगों की जान चली गई है जिनकी खबर देनेवाला कोई नहीं है।"

फादर पैट्रिक ने कहा कि यह कड़वी सच्चाई है जो परिस्थिति पर निर्भर करता है जिसके प्रति कुछ लोग सचेत हैं और कुछ लोग नहीं।

जागरूकता लाना

माली के संदर्भ में, कारितास यह सुनिश्चित करने में गहराई से लगा हुआ है कि इस आप्रवासी ढाँचे को किसी तरह प्रबंधित किया जाए।

जागरूकता बढ़ाई जा रही है, और संगठन "यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि लोग इस प्रकार की यात्राओं से उनके और उनके प्रियजनों के लिए होनेवाले जोखिमों से अधिक परिचित हों।"

फादर पैट्रिक कहते हैं, हालांकि संवेदनशीलता मौजूद है,  "यह पर्याप्त नहीं है", क्योंकि  वैश्विक स्तर पर सामने आ रही आर्थिक तबाही को देखते हुए, और अकाल के जोखिमों के कारण लोगों को लगता है कि जोखिमों को दिखाये जाने के बावजूद, घर छोड़ना अभी भी उनका सबसे अच्छा विकल्प है। घर छोड़ देना उन्हें आकाल का सामना करने से बचाता है।"

 

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07 July 2022, 16:29