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2023.05.14कारितास इंटरनेशनल के नये अध्यक्ष महाधर्माध्यक्ष इसाओ किकुची वाटिकन रेडियो ऑफिस में 2023.05.14कारितास इंटरनेशनल के नये अध्यक्ष महाधर्माध्यक्ष इसाओ किकुची वाटिकन रेडियो ऑफिस में 

महाधर्माध्यक्ष किकुची: 'कारितास भूले-बिसरे लोगों को आशा देता है'

कारितास इंटरनेशनल के नव-निर्वाचित अध्यक्ष महाधर्माध्यक्ष इसाओ किकुची ने चुनाव के बाद वाटिकन मीडिया को अपना पहला साक्षात्कार दिया और अनगिनत स्थानीय कारितास स्वयंसेवकों और कर्मचारियों के काम का वर्णन करते हुए मानवतावादी सहायता और काथलिक कलीसिया की उन लोगों से निकटता की पेशकश की, जो भूला दिये गये हैं।

माग्रेट सुनीता मिंज-वाटिकन सिटी

वाटिकन सिटी, सोमवार 15 मई 2023 (वाटिकन न्यूज) : "यह कारितास का वास्तविक मिशन है: लोगों को यह जानने में मदद करना कि उन्हें भुलाया नहीं गया है।" कारितास इंटरनेशनल की 22वीं महासभा में 400 प्रतिनिधियों द्वारा चार साल के कार्यकाल के लिए अध्यक्ष चुने जाने के तुरंत बाद के महाधर्माध्यक्ष इसाओ किकुची ने कलीसिया के धर्मार्थ परिसंघ के उस विवरण की पेशकश की।  

वाटिकन न्यूज के साथ एक साक्षात्कार में, जापान में टोक्यो के महाधर्माध्यक्ष तारसीसियो इसाओ किकुची ने अपने नए मिशन के लिए अपनी आशाओं को साझा किया, साथ ही उन अनगिनत स्वयंसेवकों के लिए एक संदेश दिया जो सेवा के ठोस कार्यों में ईश्वर के प्रेम को प्रकट करते हैं।

'इस तरह ईश्वर लोगों से प्यार करते हैं'

महाधर्माध्यक्ष किकुची के अनुसार, कारितास- दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अंतरराष्ट्रीय मानवीय सहायता एजेंसी- धर्मार्थ सहायता प्रदान करती है।

कलीसिया के स्थानीय धर्मार्थ संगठनों के लिए छाता संगठन के रूप में, कारितास "लोगों को यह दिखाने के लिए ईश्वर के प्यार के गवाह बनना चाहता है कि ईश्वर सभी लोगों से प्यार करते हैं।"

महाधर्माध्यक्ष किकुची ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कारितास दुनिया के सभी हिस्सों में जमीनी स्तर के स्वयंसेवकों से बना है, जो "कारितास की विशेषताओं को धारण करते हैं।"

उन्होंने कहा कि वे स्वयंसेवक, काथलिक कलीसिया की उदारता का चेहरा हैं, विशेष रूप से उन लोगों के लिए जो संघर्ष से ग्रस्त क्षेत्रों में रहते हैं और बाकी दुनिया द्वारा भुला दिए जाते हैं।

महाधर्माध्यक्ष किकुची ने कहा, "हम पेशेवर सहायता प्रदान करते हैं, लेकिन साथ ही हम उन्हें बताना चाहते हैं कि हम हमेशा उनके साथ हैं।" “हम हमेशा उनके साथ काम कर रहे हैं; हम उन्हें हमेशा याद कर रहे हैं। किसी को बहिष्कृत नहीं किया जाएगा; किसी को नहीं भुलाया जाएगा।

एक साथ आगे बढ़ने की आशा

नए अध्यक्ष ने कहा कि कारितास खाद्य सहायता और अन्य मानवीय सहायता लाता है, लेकिन इसका सबसे महत्वपूर्ण मिशन लोगों को "जीवित रहने की आशा पैदा करने" में मदद करना है। उनहोंने कहा कि आशा को बाहर से नहीं लाया जा सकता है।

महाधर्माध्यक्ष किकुची ने कहा, "हालांकि, हम एक मित्र हो सकते हैं, और हम एक साथ चल सकते हैं।" "हम उनके साथ हो सकते हैं, ताकि उन्हें आश्वस्त किया जा सके कि उन्हें भुलाया नहीं गया है। इससे वे जीवित रहने की आशा पैदा कर सकते हैं।

वाटिकन रेडियो को साक्षात्कार देते हुए महाधर्माध्यक्ष किकुची
वाटिकन रेडियो को साक्षात्कार देते हुए महाधर्माध्यक्ष किकुची

प्रश्न: कारितास के अध्यक्ष के रूप में आपकी नई भूमिका में, इस मिशन के लिए आपके पास क्या लक्ष्य हैं?

कारितास इंटरनेशनल, रेड क्रॉस इंटरनेशनल के बाद दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी मानवीय सहायता एजेंसी है। इसलिए यह एक पेशेवर एनजीओ के रूप में जाना जाता है जो कठिन परिस्थितियों में लोगों को सहायता प्रदान करता है। लेकिन वास्तव में, ऐसा नहीं है कि हम केवल एक एनजीओ हैं, बल्कि हम इससे कहीं अधिक हैं।

हम एक काथलिक कलीसिया के संगठन हैं और कलीसिया की सेवा के संस्थान हैं, इसका अर्थ है कि कारितास को ईश्वर के प्रेम का साक्षी माना जाता है। हम जो करते हैं वह केवल भोजन या सामग्री या किसी भी प्रकार की सहायता प्रदान करना नहीं है, बल्कि हम लोगों को यह दिखाने के लिए ईश्वर के प्रेम के गवाह बनना चाहते हैं कि ईश्वर सभी लोगों से प्रेम करते हैं।

प्रश्न: इस महासभा के दौरान आपका एक ध्यान भूले हुए लोगों पर रहा है, वे लोग जिन्हें अन्य संगठनों द्वारा भुला दिया जाता है। कारितास उन तक कैसे पहुँचता है?

मैं एक कारितास स्वयंसेवक के रूप में अपने अनुभव के आधार पर काम करूंगा। 1995 में, मैं कारितास जापान का एक स्वयंसेवक था और मुझे रवांडा के शरणार्थी शिविर, बुकावु, जाइरे [अब कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य, संस्करण] में भेजा गया था। वहां मैं कई शरणार्थियों से मिला।

बेशक, उनके पास न भोजन था, न वस्त्र, न आश्रय और लोगों को हर वस्तु की आवश्यकता थी। फिर, दूसरी बार जब मैं शिविर में गया, तो मैं कुछ अगुवों से मिला और उनसे पूछा कि उन्हें क्या चाहिए और मैं उम्मीद कर रहा था कि अगुवा मुझसे कहेंगे कि 'हमें भोजन चाहिए, हमें शिक्षा चाहिए, हमें दवा चाहिए, हमें आश्रय चाहिए' - दूसरे शब्दों में, उनकी ज़रूरतों की एक लंबी सूची है। लेकिन इसके बजाय उन्होंने कहा, 'फादरजी, आप जापान से आते हैं। इसलिए, जब आप जापान वापस जायेंगे तो उन्हें बतायें कि हम अभी भी यहीं हैं: हम सब भूला दिये गए हैं।' और उनकी बातों ने वास्तव में मुझे चौंका दिया था।

उस अनुभव के बाद, मैं विभिन्न क्षेत्रों में, आपदा से प्रभावित विभिन्न देशों में, या युद्धग्रस्त या संघर्ष वाले क्षेत्रों में बहुत से लोगों से मिला। मैंने वही कहानी और वही रोना बार-बार सुना, कि 'हम भूल गए; हमें भुला दिया गया है'।

तो, यह कारितास का वास्तविक मिशन है: लोगों को यह जानने में मदद करना कि उन्हें भुलाया नहीं गया है। हम उनके साथ रहना चाहते हैं। बेशक, हम पेशेवर सहायता प्रदान करते हैं, लेकिन साथ ही हम उन्हें बताना चाहते हैं कि हम हमेशा उनके साथ हैं। हम हमेशा उनके साथ काम कर रहे हैं; हम उन्हें हमेशा याद कर रहे हैं। किसी को बहिष्कृत नहीं किया जाएगा; किसी को नहीं भुलाया जाएगा।

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15 May 2023, 15:30