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नये कार्डिनल संत पेत्रुस महागिजाघर के प्राँगण में शपथ लेते हुए नये कार्डिनल संत पेत्रुस महागिजाघर के प्राँगण में शपथ लेते हुए  (ANSA)

संत पापा ने 21 नये कार्डिनलों की रचना की धर्मविधि सम्पन्न की

संत पापा फ्राँसिस ने शनिवार 30 सितम्बर को संत पेत्रुस महागिरजाघर के प्राँगण में, हजारों विश्वासियों के साथ, कोनचिस्तोरो या कार्डिनल रचना समारोह का अनुष्ठान किया, जिसमें उन्होंने विश्वभर के 21 नये कार्डिनलों को काथलिक कलीसिया के कार्डिनल मंडल में शामिल किया। कार्डिनल रचना समारोह रोम समयानुसार सुबह 10 बजे शुरू हुआ। 21 नये कार्डिनलों में से 18 पोप के चुनाव में वोट दे सकते हैं जबकि 3 नहीं दे सकते।

वाटिकन सिटी

वाटिकन सिटी, शनिवार, 30 सितंबर 2023 (रेई) : संत पापा ने कहा है कि कार्डिनलों की “उत्पत्ति कलीसिया की सार्वभौमिकता को व्यक्त करती है, जो पृथ्वी पर सभी लोगों के लिए ईश्वर के दयालु प्रेम की घोषणा करना जारी रखते हैं।” नए कार्डिनल, रोम में संत पेत्रुस के धर्मासन्न और दुनियाभर में फैली कलीसियाओं के बीच अविभाज्य बंधन को प्रदर्शित करते हैं।

संत पापा ने नये कार्डिनलों को सम्बोधित कर कहा, “आज ईश वचन के आलोक में, हम इस वास्तविकता को समझ सकते हैं कि आप नये कार्डिनल दुनिया के विभिन्न हिस्सों से आये हैं और वही आत्मा जिसने आपके लोगों के लिए सुसमाचार को उर्वरित किया, अब कलीसिया में और कलीसिया के लिए, आपकी बुलाहट और मिशन को नवीकृत करते हैं।”

सम्बोधन के बाद संत पापा ने नये कार्डिनलों की रचना की। कार्डिनलों का नाम लेते हुए उन्हें ईश्वर पर विश्वास एवं कलीसिया के प्रति निष्ठा की अभिव्यक्ति हेतु आमंत्रित किया। कार्डिनलों ने प्रतिज्ञा दुहराते हुए कहा, “मैं प्रतिज्ञा करता और शपथ लेता हूँ कि अब से और हमेशा, जब तक मैं जिंदा रहूँगा, ख्रीस्त और उनके सुसमाचार के प्रति निष्ठावान रहूँगा, पवित्र प्रेरितिक रोमन काथलिक कलीसिया के प्रति निरंतर आज्ञाकारी रहूँगा।” उसके बाद हरेक कार्डिनल ने पोप फ्राँसिस के सामने झुककर उनके हाथों से कार्डिनल की लाल टोपी एवं अंगुठी ग्रहण की।    

नये कार्डिनलों के नाम इस प्रकार हैं :

कार्डिनल रोबर्ट फ्राँसिस प्रेवोस्ट ओ.एस.ए, धर्माध्यक्षों के विभाग के अध्यक्ष।

कार्डिनल क्लौदियो गुजेरोत्ती, पूर्वी कलीसियाओं के विभाग के अध्यक्ष।

कार्डिनल विक्टोर मानुएल फेरनांनडेज, विश्वास के सिद्धांत विभाग के अध्यक्ष।

कार्डिनल एमिल पौल तेशेरिंग, इटली में प्रेरितिक राजदूत।

कार्डिनल ख्रीस्तोफर लुईस यूवेस जोरजेस पियेर, अमरीका में प्रेरितिक राजदूत।

कार्डिनल पियेरबतिस्ता पित्साबाला, येरूसालेम के लातीनी रीति के प्राधिधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल स्तेफन ब्रिसलिन, केप टाऊन के महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल एंजेल सिक्सतो रोस्सी येसु समाजी, कोरडोबा के महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल लुईस जोस रूइडा अपारिको, बोगोटा के महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल ग्रेजगोर्ज आर वाई एस, लूंज़ के महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल स्तेफन एमेयू मार्टिन मुल्ला, जूबा के महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल जोश जोबो कानो, मडरिड के महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल प्रोतासे रूगाम्बवा, ताबोरा के महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल सेबास्तियन फ्राँसिस, पेनांग के धर्माध्यक्ष।

कार्डिनल स्तेफन चौ सौ यान येसु समाजी, हॉंगकॉग के धर्माध्यक्ष।

कार्डिनल फ्राँसिस जेवियर बुस्तिल्लो ओएफएम, अजाचो के धर्माध्यक्ष।

कार्डिनल अमेरिको मानुएल अल्वेस अगुइयर, लिसबोना के सहायक धर्माध्यक्ष।

कार्डिनल एंजेल फेर्नांदिस अर्तिमे, एडीबी, सलेशियन रेक्टर।

कार्डिनल अगोस्तीनो मारचेत्तो, प्रेरितिक राजदूत।

कार्डिनल डिएगो रफाएल पद्रोन संकेज, कुमाना के सेवानिवृत महाधर्माध्यक्ष।

कार्डिनल लुईस पास्कल डी.एफ.एम कैप, बोयनोस आयरिस की माता मरियम के तीर्थस्थल के पापमोचक।

इसके साथ ही, कार्डिनलों की कुल संख्या 242 हो गई है जिनमें से 137 कार्डिनल पोप के चुनाव में भाग ले सकते हैं और 105 कार्डिनल चुनाव में भाग नहीं ले सकते।  

भारत से कुल 6 कार्डिनल हैं जिनमें से 5 पोप के चुनाव में भाग ले सकते हैं। जबकि एक चुनाव में भाग नहीं ले सकते।  

संत पेत्रुस महागिरजाघर के प्राँगण में सम्पन्न कार्डिनल रचना समारोह में भाग लेने के लिए ख्रीस्तीय विश्वासी भारी संख्या में उपस्थित हुए। इस अवसर पर कार्डिनलों के प्रियजनों के साथ-साथ कई देशों के राजनीतिक प्रतिनिधि भी उपस्थित थे। खास मेहमानों के रूप में स्पेन, फ्राँस, इटली, पोलैंड, पुर्तगाल, कोलोम्बिया, अर्जेंटीना, जॉर्डन, फिलीस्तीन, दक्षिणी सूडान, ऑर्डर ऑफ माल्टा और येरूसालेम के पवित्र कब्रस्थान के प्रतिनिधियों ने समारोह में भाग लिया।

नये कार्डिनलों की ओर से रोबर्ट फ्राँसिस प्रेवोस्ट ने संत पापा फ्राँसिस को धन्यवाद दिया। “हम आपको धन्यवाद देते हैं क्योंकि आपने हमें चुनकर सुसमाचार के संदेश को खुशी से घोषित करने के मिशन की सेवा में आगे बढ़ाया है। हम अपनी अपर्याप्तता को जानते हुए भी इस नई जिम्मेदारी के भार को गहराई से महसूस करते हैं।”

नई जिम्मेदारी को पूरा करने के लिए पोप से प्रार्थना का आग्रह करते हुए उन्होंने कहा, "हमें अपनी प्रार्थना में याद रखियेगा।" आशा है कि यह नई "धुरी" जो आज स्थापित हुई है, सार्वभौमिक कलीसिया के दरवाजे को खुलने के लिए अधिक तैयार, स्वागत के लिए तेज और हर किसी को सुनने में अधिक सक्षम बनाने में योगदान दे सकेगी।

 

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30 September 2023, 15:32