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नूर-सुल्तान में पवित्र मिस्सा के अंत में संत पापा फ्राँसिस अभिवादन करते हुए नूर-सुल्तान में पवित्र मिस्सा के अंत में संत पापा फ्राँसिस अभिवादन करते हुए 

कजाकिस्तान में संत पापा: 'युद्ध के आदी न बनें, न ही पीड़ितों की मदद करने से थकें'

नूर-सुल्तान में पवित्र मिस्सा के अंत में संत पापा फ्राँसिस ने यूक्रेन सहित दुनिया के सभी युद्धग्रस्त क्षेत्रों के लिए प्रार्थना की और शांति के मार्ग पर बातचीत का आह्वान किया। संत पापा ने सभी से पीड़ित लोगों की सहायता हेतु आगे आने का आह्वान किया।

माग्रेट सुनीता मिंज-वाटिकन सिटी

नूर-सुलतान, बुधवार14 सितम्बर 2022 (वाटिकन न्यूज) : संत पापा फ्राँसिस ने कजाकिस्तान की अपनी 3 दिवसीय प्रेरितिक यात्रा के दूसरे दिन बुधवार को नूर-सुल्तान में एक्सपो मैदान में विश्वासियों के साथ पवित्र मिस्सा समारोह की अध्यक्षता की।

मिस्सा के अंत में, संत पापा ने अस्ताना में अति निष्कलंक माता मारिया के महाधर्माध्यक्ष टॉमस पेटा को उनके भाषण के लिए धन्यवाद दिया। संत पापा ने अपनी यात्रा की तैयारियों में किए गए प्रयासों की भी प्रशंसा की और मध्य एशियाई राष्ट्र के नागरिकों, धार्मिक अधिकारियों और वहाँ सभी उपस्थित लोगों को भी धन्यवाद दिया।

संत पापा ने कहा, "मैं आप सभी भाइयों और बहनों और विशेष रूप से आप में से उन सभी का अभिवादन करता हूँ जो मध्य एशिया के अन्य देशों और इस विशाल भूमि के दूर के हिस्सों से आए हैं।" "बड़े स्नेह के साथ, मैं बुजुर्गों और बीमारों, बच्चों और युवाओं को आशीर्वाद देता हूँ।"

कृतज्ञता शांति की याचना बन जाती है

संत पापा फ्राँसिस ने ओजिओर्नोय में शांति की रानी के राष्ट्रीय तीर्थालय में पवित्र क्रूस विजय के पर्व पर 14 सितंबर को मनाये जाने वाले आध्यात्मिक एकता की भावना पर प्रकाश डाला।

उन्होंने याद किया कि "कजाकिस्तान के लोगों का आभार" और "मानवता को शांति" शब्द राष्ट्रीय तीर्थालय में बड़े क्रूस पर अंकित हैं।

उन शब्दों से प्रेरित होकर, उन्होंने कहा कि "इस महान देश में रहने वाले ईश्वर के पवित्र लोगों के लिए ईश्वर का आभार, संवाद को बढ़ावा देने की अपनी प्रतिबद्धता में शामिल होना, शांति के लिए एक दलील बन जाता है, जिस शांति के लिए हमारी दुनिया इतनी गहराई से तरसती है। ।"

यूक्रेन एवं युद्धग्रस्त क्षेत्रों के लिए प्रार्थना

संत पापा ने तब दुनिया के सभी युद्धग्रस्त क्षेत्रों, विशेष रूप से यूक्रेन के लिए प्रार्थना करते हुए कहा, “हम कभी भी युद्ध के आदी न बनें।”

उन्होंने सभी से पीड़ित लोगों की सहायता के लिए आगे आने और शांति प्राप्त करने के लिए वास्तविक प्रयास करने पर जोर देने का आग्रह किया। उन्होंने बताया कि इन दिनों काकेशस क्षेत्र में हिंसा के फैलने की खबरें आई हैं।

पवित्र मिस्सा में भाग लेते हुए विश्वासी
पवित्र मिस्सा में भाग लेते हुए विश्वासी

संत पापा ने जोर देकर कहा, "एकमात्र समाधान शांति है और शांति तक पहुंचने का एकमात्र तरीका बातचीत है।"

लोगों, राष्ट्रों और पूरी मानवता की भलाई के लिए बातचीत करने से पहले संघर्ष में पता नहीं और कितनी मौतें होंगी।

अंत में, संत पापा फ्राँसिस ने सभी को प्रार्थनाएँ करने हेतु आमंत्रित किया ताकि दुनिया यह सीख सके कि शांति कैसे बनाई जाए, कम से कम हथियारों की होड़ को सीमित करके और युद्ध पर खर्च किये जाने वाले भारी रकम को लोगों की ठोस सहायता में खर्च की जाए।

संत पापा ने कहा, "मैं उन सभी का धन्यवाद करता हूँ जो इसमें विश्वास करते हैं। मैं आप सभी को और उन सभी पुरुषों और महिलाओं को धन्यवाद देता हूँ जो शांति और एकता के दूत हैं!"

 

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14 September 2022, 16:17