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इरपिना में भुकम्प के 40 साल इरपिना में भुकम्प के 40 साल 

भुकम्प के चालीस साल, पीड़ितों के प्रति इटली की उदारता

देवदूत प्रार्थना के उपरांत संत पापा ने विश्वासियों का अभिवादन किया तथा विभिन्न घटनाओं के शिकार लोगों के प्रति सहानुभूति प्रकट की।

उषा मनोरमा तिरकी-वाटिकन सिटी

देवदूत प्रार्थना के उपरांत संत पापा ने विश्वासियों का अभिवादन किया तथा विभिन्न घटनाओं के शिकार लोगों के प्रति सहानुभूति प्रकट की।

उन्होंने कहा, "मैं विनाशकारी भुकम्प के चालीस वर्षों बाद कम्पानिया और बिसिलिकाता के लोगों की विशेष याद करता हूँ इरपिनिया में जिसके उपरिकेंद्र थे और जिसने मौत और विनाश बोया। उस भयंकर घटना के 40 साल हो चुके हैं, उसके घाव अब भी चंगे नहीं हो पाये हैं, जिसके लिए इटली की उदारता एवं एकात्मकता प्रकट हुई है। कई भुकम्प प्रभावित देश एवं उत्तर और मध्य, जिनका संबंध अब भी है इसका साक्ष्य देते हैं। इन प्रयासों ने पुनःनिर्माण के कठिन रास्ते को प्रोत्साहित किया है, सबसे बढ़कर महाद्वीप के विभिन्न समुदायों के बीच भाईचारा को बढ़ाया है।"   

तब संत पापा ने सभी तीर्थयात्रियों एवं पर्यटकों का अभिवादन किया। उन्होंने कहा, मैं आप सभी का अभिवादन करता हूँ, आप इस समय की कठिनाई के बावजूद नियमों का पालन करते हुए संत पेत्रुस महागिरजाघर के प्रांगण में आये हैं। उन सभी परिवारों का विशेष अभिवादन करता हूँ जो इस समय संघर्ष कर रहे हैं। मैं उन सभी परिवारों की याद करता हूँ जो इस समय काम नहीं होने, नौकरी खो देने के कारण, जिनके एक या दो बच्चे हैं...कई बार लाज के मारे लोगों से गुप्त रखते हैं। आप ही हैं जो जाते और जहाँ जरूरत है खोजते हैं। येसु कहाँ हैं, येसु कहाँ जरूरत में, उन्हें खोजें।"   

अंत में, संत पापा ने प्रार्थना का आग्रह करते हुए सभी को शुभरविवार की मंगलकामनाएँ अर्पित कीं।   

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23 November 2020, 14:27