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म्यांमार नरसंहारों का अंत्येष्टि

नवीनतम म्यांमार नरसंहार में 35 पीड़ित, दो छोटे बच्चों सहित म्यांमार के काया राज्य में ह्प्रुसो के पास एक गांव के सभी काथलिक हैं।

दिलीप संजय एक्का-वाटिकन सिटी

वाटिकन सिटी, गुरूवार, 30 दिसम्बर, 2021 (रेई) 24 दिसम्बर को पूर्वी म्यांमार काया राज्य के ह्प्रुसो गांव में हुए नरसंहार में मारे गये 35 नागरिकों का बुधवार को अंतिम संस्कार किया गया।

शनिवार की सुबह दो ट्रकों में “पीपुल्स डिफेंस फोर्सेस” के लड़ाकों ने म्यांमार नरसंहार में मारे और जलाये लोगों के शव को पाया  जिनमें दो छोटे बच्चे और गैर-लाभकारी संगठन “सेव द चिल्ड्रन” के दो स्थानीय कार्यकर्ता शामिल हैं।

म्यांमार के विपक्षी दल के कार्यकर्ताओं ने इस नरसंहार के लिए सैन्य जुंटा का विरोध करने वाले सशस्त्र उग्रवादियों से लड़ने वाले सरकारी सैनिकों पर आरोप लगाया है। मंगलवार को, मानवीय मामलों के लिए संयुक्त राष्ट्र के महासचिव और आपातकालीन राहत समन्वयक, मार्टिन ग्रिफिथ्स ने “एक संपूर्ण और पारदर्शी जांच” की मांग की है।  इस घटना की देश भर के नागरिकों ने कड़ी निंदा की है।

अंतिम संस्कार का मिस्सा नहीं

लोइकाव के स्थानीय सूत्रों, जहां नरसंहार हुआ था, ने फ़िदेस एजेंसी को बताया कि सेना ने अंततः पीड़ितों के रिश्तेदारों को घटना स्थल में पहुंचने और उन्हें दफनाने के लिए अवशेषों की एकत्र करने की अनुमति दी। हालांकि, स्थानीय पल्ली पुरोहित को अंतिम संस्कार की धर्मविधि का मिस्सा बलिदान चढ़ाने की अनुमति नहीं दी गई,  अतः स्थानीय प्रचारक ने अंत्योष्टि की साधारण विधि पूरी की।

प्रचारक ने फिदेस समाचार को बताया कि हमले की क्रूरता से पूरा समुदाय भयभीत और स्तब्ध है, “वे निर्दोष लोग थे जो लड़ाई से भाग रहे थे। सेना निर्दय बन गई है और लोगों को आतंकित करते हुए नरसंहार कर रही है”।

म्यांमार कलीसिया हैरान

01 फरवरी के सैन्य तख्तापलट के बाद म्यांमार में बढ़ती हिंसा के बीच हुए हमले ने देश के लोगों और काथलिक कलीसिया को झकझोर कर रख दिया है।

यांगून के कार्डिनल चार्ल्स बो ने इस नरसंहार की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए कहा कि यह “एक भीषण अत्याचार” है। म्यांमार के काथलिक धर्माध्यक्षों ने एक बार फिर सेना से “बमबारी, गोलाबारी और हत्या” रोकने का आग्रह करते हुए लोकतंत्र आंदोलन और सशस्त्र जातीय समूहों से “शांति हेतु निष्ठावान प्रयास” का आह्वान किया है।

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30 December 2021, 16:39