ग्लासगो में संदेश देते हुए कार्डिनल पारोलिन ग्लासगो में संदेश देते हुए कार्डिनल पारोलिन 

अपने बच्चों के लिए एक स्वस्थ ग्रह छोड़ने का चुनाव करें, संत पापा

ग्लासगो में संत पापा फ्रांसिस के संदेश को कार्डिनल पिएत्रो पारोलिन ने प्रस्तुत किया। जिसमें संत पापा ने ग्रह और जलवायु आपातकाल से सबसे अधिक पीड़ित लोगों को बचाने के लिए सभी से कार्रवाई की आवश्यकता पर बल दिया।

माग्रेट सुनीता मिंज-वाटिकन सिटी

ग्लासगो, बुधवार 3 नवम्बर 2021 (वाटिकन न्यूज) : वाटिकन राज्य सचिव कार्डिनल पिएत्रो पारोलिन ग्लासगो में हो रहे कोप 26 सम्मेलन में संत पापा और परमधर्मपीठ का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं।

जलवायु सम्मेलन में भाग लेने वालों को संबोधित करते हुए, मंगलवार को कार्डिनल पारोलिन ने संत पापा फ्राँसिस के संदेश को पढ़ा। उन्होंने यह कहा कि सम्मेलन में पूरे अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को यह दिखाने की जरुरत है कि जलवायु परिवर्तन के नकारात्मक प्रभावों को कम करने के साथ-साथ, सबसे गरीब और सबसे कमजोर आबादी की मदद करने के लिए साहसपूर्वक अधिक मानवीय, वित्तीय और तकनीकी संसाधनों का आवंटन हेतु क्या वास्तव में पूरी ईमानदारी और जिम्मेदारी के साथ-साथ राजनीतिक इच्छाशक्ति है।

 कार्य संपन्न करना

कार्डिनल ने कहा कि यह कार्य और भी कठिन है, क्योंकि इसे महामारी के बीच में किया जाना चाहिए। इस महामारी ने हमें सिखाया है कि इसे हराने के लिए हम सभी को भाग लेना चाहिए।

कार्डिनल पारोलिन ने याद किया कि महामारी से पहले जो समय था, अनिवार्य रूप से महामारी के बाद के जीवन से अलग होगा। यह जीवन, एक ऐसा जीवन है जिसे हमें अपनी पिछली गलतियों पर काम करते हुए एक साथ मिलकर बनाना चाहिए।

जलवायु परिवर्तन की वैश्विक समस्या के बारे में भी यही कहा जा सकता है। हमारे पास कोई विकल्प नहीं है। हम पेरिस समझौते में लिखे गए लक्ष्यों को तभी प्राप्त कर सकते हैं जब हम समन्वित और जिम्मेदार तरीके से कार्य करें। वे महत्वाकांक्षी हैं, लेकिन उन्हें विलंबित नहीं किया जा सकता है। आज ये निर्णय आपके ऊपर हैं।

युग का परिवर्तन

कार्डिनल पारोलिन ने कहा कि वर्तमान में हम युग के परिवर्तन और सभ्यता की चुनौती से गुजर रहे हैं। इस परिस्थिति में, उन्होंने जलवायु वित्त के क्षेत्र में नेतृत्व करने के लिए अधिक क्षमता वाले देशों की आवश्यकता पर बल दिया।

उन्होंने परमधर्मपीठ द्वारा अपनाई गई शुद्ध-शून्य उत्सर्जन की रणनीति को दो भागों में वर्णित किया: 1) 2050 तक इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए वाटिकन सिटी स्टेट की प्रतिबद्धता; 2) परमधर्मपीठ की स्वयं की समग्र पारिस्थितिकी के लिए शिक्षा को बढ़ावा देने की प्रतिबद्धता, इस बात से अच्छी तरह वाकिफ है कि राजनीतिक, तकनीकी और परिचालन उपायों को एक शैक्षिक प्रक्रिया के साथ जोड़ा जाना चाहिए और विशेष रूप से युवा लोगों के बीच, नई जीवन शैली को बढ़ावा देता है और एक सांस्कृतिक मॉडल को प्रोत्साहित करता है।

कार्डिनल पारोलिन ने कहा, हमें कोविड महामारी के परिणाम का सामना करने के लिए आशा और साहस की आवश्यकता है, क्योंकि मानवता के पास इस परिवर्तन का सामना करने के लिए साधन हैं, जिसके दौरान काम की दुनिया पर इसके प्रभावों पर भी सावधानी से विचार किया जाना चाहिए।

सबसे कमजोरों पर ध्यान दें

कार्डिनल पारोलिन जोर देते हुए कहा, इस संबंध में, सबसे कमजोर आबादी पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए, जिनके लिए "पारिस्थितिक ऋण" अर्जित किया गया है और सबसे कमजोर आबादी को विशेष देखभाल दी जानी चाहिए।

उन्होंने कहा कि कुछ मायनों में 'पारिस्थितिक ऋण' विदेशी ऋण के मुद्दों को याद दिलाता है और इसका दबाव अक्सर लोगों के विकास में बाधा डालता है। इन सभी पहलुओं को ध्यान में रखते हुए महामारी के बाद विकास के कार्यों को फिर से शुरू करना चाहिए जिसमें हर कोई अंततः भाग ले सके।

कड़वी हकीकत

कार्डिनल पारोलिन ने कहा, यह बड़े दुख की बात है कि हम जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए वांछित उद्देश्यों को प्राप्त करने से कितने दूर हैं। लेकिन सच्चाई यह है कि हम इसे बर्दाश्त नहीं कर सकते। कार्डिनल ने जोर देकर कहा कि कोप 26 से पहले कई क्षणों ने प्रदर्शित किया है कि अब और समय नहीं बचा है। उन्होंने कहा कि हम महसूस करते हैं कि यह बच्चों के अधिकारों का संकट भी बन गया है और निकट भविष्य में, पर्यावरण प्रवासी संघर्षरत शरणार्थियों से आगे निकल जाएंगे। इस कारण से, तत्काल, साहसी और जिम्मेदार कार्रवाई की जरूरत है।

युवा लोग

संत पापा फ्राँसिस के संदेश को समाप्त करते हुए, कार्डिनल पारोलिन ने चेतावनी दी कि युवा लोग, जो पिछले कुछ वर्षों में हमसे आग्रह कर रहे हैं, हम आज जो ठोस विकल्प चुनते हैं, उसके आधार पर वे उस ग्रह को प्राप्त करेंगे जिसे हम उनके लिए छोड़ना चाहते हैं।

अंत में कार्डिनल पारोलिन ने ग्लासगो में शारीरिक रूप से उपस्थित होने की संत पापा की इच्छा को व्यक्त किया, लेकिन उपस्थित लोगों को आश्वस्त किया कि वे अपनी प्रार्थनाओं द्वारा उनके साथ हैं।

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03 November 2021, 15:26