बेलारुस का झंडा लिये हुए प्रदर्शनकर्ता बेलारुस का झंडा लिये हुए प्रदर्शनकर्ता 

परमधर्मपीठ बेलारूस में शांतिपूर्ण समाधान चाहता है

संयुक्त राष्ट्र में परमधर्मपीठ के स्थायी पर्यवेक्षक, महाधर्माध्यक्ष इवान यूरकोविच ने शुक्रवार को जेनेवा में संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद की सभा में बेलारूस में मानवाधिकारों की स्थिति पर तत्काल बहस को संबोधित किया।

माग्रेट सुनीता मिंज-वाटिकन सिटी

जेनेवा, सोमवार 21 सितम्बर 2020 (वाटिकन न्यूज) : जिनेवा में संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद के समक्ष बहस का विषय था, ʺबेलारूस में निस्सहाय नागरिकों के खिलाफ अत्यधिक बल का उपयोग और मानवाधिकार उल्लंघन।ʺ

मानव अधिकार परिषद के 45वें सत्र में "बेलारूस में मानवाधिकारों की स्थिति पर" बहस हुई। संयुक्त राष्ट्र में परमधर्मपीठ के स्थायी पर्यवेक्षक महाधर्माध्यक्ष इवान यूरकोविच ने भी परिषद को संबोधित किया।

शांतिपूर्ण समाधान हेतु अपील

अपनी टिप्पणी में, महाधर्माध्यक्ष यूरकोविच ने कहा कि परमधर्मपीठ बेलारूस में चुनाव होने के बाद से ही वहाँ की स्थिति से अवगत है। उन्होंने कहा कि परमधर्मपीठ "ईमानदारी से वार्ता, हिंसा की अस्वीकृति, न्याय और नागरिक अधिकारों के सम्मान के माध्यम से शांतिपूर्ण और न्यायपूर्ण समाधान के लिए अपनी अपील को नवीनीकृत करता है।"

उन्होंने 11 से 14 सितंबर को हुई सभा में सम्मिलित हुए वाटिकन विदेश सचिव महाधर्माध्यक्ष रिचर्ड पॉल गल्लाघर की हाल की यात्रा को याद किया। उस यात्रा के माध्यम से, "संत पापा ने पूरे देश के लिए और विशेष रूप से स्थानीय काथलिक कलीसिया के साथ अपनी विशेष और मूर्त एकात्मकता का प्रदर्शन किया है।"

उन्होंने आशा व्यक्त की कि महाधर्माध्यक्ष गल्लाघर की यात्रा "कलीसिया के विलक्षण मिशन और सामाजिक सामंजस्य एवं राष्ट्रीय सामंजस्य को बढ़ावा देने में सहायक भूमिका की गहरी समझ को इंगित करती है।"

प्रदर्शनकारियों को सुना जाना चाहिए

बेलारुस में विरोध प्रदर्शनों की स्थिति के बारे महाधर्माध्यक्ष यूरकोविच ने कहा, “यह अपरिहार्य है कि प्रदर्शनकारी शांतिपूर्ण तरीके से अपना अनुरोध प्रस्तुत करें। यह भी आवश्यक है कि शासन सत्ता अधिकारी संयम बरतें और अपने नागरिकों की आवाज़ सुनें और अपने नागरिक और मानवाधिकारों के प्रति पूर्ण सम्मान का आश्वासन देते हुए उनकी आकांक्षाओं के प्रति खुले रहें। ”

संवाद के लिए तैयार

महाधर्माध्यक्ष यूरकोविच यह कहते हुए अपना वक्तव्य समाप्त किया कि परमधर्मपीठ देश की तनावपूर्ण समस्याओं का शांतिपूर्ण और जल्द समाधान" की इच्छा रखती है। परमधर्मपीठ शांतिपूर्ण समाधान हेतु आगे की चर्चा का हिस्सा बनने के लिए खुली है।"

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21 September 2020, 10:22