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कॉगो के स्वास्थ्य कर्मी कॉगो के स्वास्थ्य कर्मी 

गोमा शहर में इबोला की महामारी फैलने की आशंका

गोमा शहर में इबोला से एक व्यक्ति की मौत के बाद अधिकारीगण शांत रहने की अपील कर रहे हैं। कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य में लगभग एक वर्ष पुरानी महामारी में प्रमुख शहरी केंद्र गोमा में इबोला बीमारी का पहला मामला है और आशंका की जा रही है कि संक्रमण बढ़ सकता है या नए स्थानों पर फैल सकता है।

माग्रेट सुनता मिंज-वाटिकन सिटी

गोमा, बुधवार, 17 जुलाई 2019 (वाटिकन न्यूज) : मंगलवार को पत्रकारों से बात करते हुए, पूर्वी डीआरसी में उत्तरी किवु के गवर्नर ने उस मरीज की मौत की पुष्टि की, जिसे एक पादरी के रूप में पहचान की गई, जो इबोला के प्रकोप से सबसे ज्यादा प्रभावित शहरों में से एक बुटेमबो से यात्रा कर रहा था।

रविवार तड़के बुटेम्बो से पादरी बस से 18 यात्रियों और चालक के साथ गोमा आया। इबोला से प्रभावित होने वाला बुटेम्बो मुख्य शहर है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि व्यक्ति की जांच की गई जिसमें उसे इबोला होने की पुष्टि हुई।

प्रतिक्रिया दलों ने कथित तौर पर अब तक 60 लोगों की पहचान की है जो पादरी के संपर्क में थे, जिनमें से 30 को अब टीका लगाया जा चुका है।

 लेकिन यह विशेष मामला इतना महत्वपूर्ण क्यों है?

क्योंकि गोमा एक सीमावर्ती शहर है, जो कि रवांडा से सटे किवु झील के उत्तरी किनारे पर स्थित है। यह बंदरगाह के साथ-साथ एक विशाल चौराहा भी है जो बुकावु और दक्षिण किवु को जोड़ता है और इथियोपिया की राजधानी अदीस अबाबा, युगांडा की राजधानी एन्तेबे और किन्शासा के लिए उड़ान भरने का एक हवाई अड्डा है। गोमा में इबोला फैलने से अन्य देशों में भी आसानी से महामारी फैल जाएगी।

स्वास्थ्य मंत्रालय के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, उत्तर किवू और इटुरी प्रांत में पिछले साल अगस्त से लगभग 1,700 लोग हेमोरेजिक वायरस से मर चुके हैं। लगभग 700 लोग ठीक हो गए हैं और 160,000 से अधिक लोगों को टीका लगाया गया है।

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17 July 2019, 16:29