निकारागुआ संकट वार्ता 'एक ठहराव पर'
माग्रेट सुनीता मिंज-वाटिकन सिटी
निकारागुआ, बुधवार 15 मई 2019 (वाटिकन न्यूज) : एस्टेली धर्मप्रांत के धर्माध्यक्ष माता ग्वेरा ने फीदेस समाचार एजेंसी को बताया कि राष्ट्रपति दानियल ओर्टेगा की सरकार ने निकारागुआ के वर्षों पुराने संकट को हल करने की कोई इच्छा नहीं दिखाई है।
उन्होंने कहा, "हमने कई बार कहा है कि इस शासन में देश की भलाई के लिए एक समझौते तक पहुंचने की राजनीतिक इच्छाशक्ति नहीं है।"
राजनीतिक कैदी
काथलिक कलीसिया ऑर्टेगा सरकार और विपक्षी दल के बीच वार्ता में मध्यस्थता करने में मदद कर रही है और बार-बार राजनीतिक कैदियों के रिहाई की मांग कर रही है।
राष्ट्रपति ओर्टेगा ने राष्ट्रीय वार्ता का वादा किया है। वार्ता का मुद्दा है, 90 दिनों के भीतर राजनीतिक कैदियों को मुक्त करना और 18 जून को उनकी रिहाई की समय सीमा समाप्त हो रही है।
विपक्षी नेताओं का दावा है कि सरकार विरोधी प्रदर्शनों के दौरान 640 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया।
अप्रैल 2018 में सरकार के खिलाफ प्रदर्शन के बाद से उपद्रव ने निकारागुआ को तबाह कर दिया है। विरोध प्रदर्शनों के करीब 325 लोगों की मौत हो गई है और 50,000 से अधिक लोग देश छोड़कर भाग गए हैं।
वार्ता पर ठहराव
धर्माध्यक्ष ग्वेरा ने कहा कि देश में इतनी अशांति होने के बावजूद, सरकार की "सामाजिक और राजनीतिक संकट के शांतिपूर्ण समाधान की कोई मंशा नहीं है।"।
धर्माध्यक्ष ग्वेरा का दावा है कि देश में संकट के लिए राष्ट्रपति ऑर्टेगा ही जिम्मेदार हैं। वे ही देश में सभी हमलों के लिए जिम्मेदार हैं, वे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता, नागरिकता की भलाई के लिए परिवर्तन और अंतरराष्ट्रीय प्रतिबंधों की अनुमति नहीं देते हैं।"
उपराष्ट्रपति रोसारियो मुरिलो ने संकट वार्ता में बाधा डालने वाले दावों का खंडन किया है, उन्होंने कहा कि सरकार वार्ता की मेज पर अपनी भागीदारी निभा रही है।
इस बीच, ओर्टेगा शासन ने कथित तौर पर अपने प्रतिनिधियों को पिछले दो सप्ताह से वार्ता से हटा दिया है और एक समझौते को रद्द कर दिया है जिससे राजनीतिक कैदियों की रिहाई रुक गई।
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