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ग्वेर्रेरो: 2020 एक मुश्किल साल था, लेकिन उम्मीद से बढ़कर रहा

एक कठिन साल जिसने वाटिकन के विभिन्न परिषदों को कम खर्च करने के लिए मजबूर किया, संत पापा के मिशन की सेवा को आगे बढ़ाने हेतु पहले की तुलना में खर्चों को कम किया गया है जबकि महामारी के कारण बहुत अधिक प्रभावित देशों की कलीसियाओं को अधिक मदद पहुँचाया गया है। उक्त बात वाटिकन के आर्थिक सचिवालय के अध्यक्ष जेस्विट पादर जुवन अंतोनियो ग्वेर्रेरो अल्वेस ने कही।

उषा मनोरमा तिरकी-वाटिकन सिटी

वाटिकन सिटी, शनिवार, 24 जुलाई 2021 (रेई)- वाटिकन न्यूज के संपादक अंद्रेया तोरनियेली को दिये एक साक्षात्कार में फादर अल्वेस ने रेखांकित किया है कि 2020 जो कोविड-19 से बहुत अधिक प्रभावित था, इसका परिणाम, वास्तव में, महामारी के प्रकोप के बाद "काल्पनिक परिदृश्यों की तुलना में थोड़ा बेहतर" था। खुशी का समाचार ये हैं कि प्रयासों के कारण परिणाम सामान्य वर्षों के बहुत करीब है। वे बतलाते हैं, वास्तव में, "साधारण घाटा 2019 की तुलना में 14.4 मिलियन यूरो कम है, 2019 में घाटा 79.2 मिलियन यूरो था जो 2020 में घटकर 64.8 मिलियन यूरो है।"

हालांकि, वित्तीय निवेश पर वापसी 51.8 मिलियन यूरो कम थी और असाधारण परिणाम 17.8 मिलिमय यूरो कम। अर्थात् इसका मतलब है कि "पिछले साल का घाटा 11.1 मिलियन यूरो था और इस साल यह 66.3 मिलियन यूरो है।" किन्तु हम यहाँ सिर्फ परमधर्मपीठ के बजट की बात कर रहे हैं। जबकि इसके साथ प्रशासन, ईयोर (वाटिकन बैंक) और कई अन्य संस्थाएँ हैं जैसे, अस्पताल, वाटिकन पेंसन फंड, स्वास्थ्य संघ फंड आदि हैं जिनपर परमधर्मपीठ की जिम्मेदारी है। फादर अल्वेस ने कहा कि यदि सभी संस्थाओं को एक साथ रखा जाए तो तस्वीर थोड़ी खराब होगी क्योंकि परमधर्मपीठ एक गैरलाभकारी संस्था है और कई लोग नुकसान में होते हैं क्योंकि वे ऐसी सेवाएं प्रदान करते हैं जो पूरी तरह से वित्त पोषित नहीं होतीं।”

फंड के सकारात्मक पक्ष के बारे पूछे जाने पर फादर ग्वेर्रेरो ने परिषद की सराहना की कि इसने खर्च कम करने में अपनी जिम्मेदारी निभायी। वास्तव में, "जाहिरा तौर पर - 318 मिलियन से 314.7 मिलियन तक खर्च कम हो गए।" उनका मानना है कि यह एक अच्छा चिन्ह है कि ऐसे विभाग जो सबसे जरूरतमंद कलीसियाओं की मदद से जुड़े हैं, उनके खर्च को कम करने के बदले, वे महामारी के कारण पीड़ित कलीसियाओं की मदद हेतु बढ़ा दिया गया।

संत पेत्रुस के भिक्षा दान के कम प्रयोग पर स्पष्टीकरण देते हुए जेसुइट फादर ने कहा  कि 44 मिलियन यूरो के संग्रह के सामने, 12 मिलियन के अलावा, 2020 में विभिन्न देशों में विशिष्ट परियोजनाओं के लिए निर्देशित संत पापा के मिशन के लिए 50 मिलियन यूरो दान दिया गया था। इसलिए, ओबोलो ने "अपनी पिछली संपत्ति को लेते  हुए, एकत्र किए गए 18 मिलियन यूरो अधिक खर्च किया"। यह भी विचार करना आवश्यक है कि "कुल राजस्व में 58.5 मिलियन यूरो की कमी आई" जबकि धर्मसमाजियों और दुनियाभर के धर्मप्रांतों से आनेवाले दान, वस्तुतः अपरिवर्तित रहे, और 2019 में 55.8 मिलियन से बढ़कर 2020 में 56.2 हो गए।

इस संबंध में अध्यक्ष का मानना है कि महामारी ने विभागों को अपनी कमजोरियों को महसूस करने में मदद दी ताकि विकास की आवश्यकता वाले क्षेत्रों की पहचान की जा सके तथा सुधार के रास्ते पर सकारात्मक कदम उठाया जा सके। फादर ग्वेर्रेरो स्वीकार करते हैं कि हम निर्णय लेने की प्रक्रिया में कमजोर रहे हैं किन्तु वे कहते हैं कि इसने संस्थाओं को आर्थिक जिम्मेदारी हेतु एक साथ काम करने के लिए प्रेरित किया है। यह सच है कि विशेष उद्देश्यों के लिए योजनाओं को विभिन्न दानदाताओं द्वारा आर्थिक सहायता प्रदान करना (33 मिलियन यूरो) और परमधर्मपीठ के लिए धर्मप्रांतों का योगदान (23 मिलयन यूरो) 2019 की तरह ही रहेगा। लेकिन यह भी कहा जाना चाहिए कि ओबोलो का संग्रह अब तक परमधर्मपीठ के समेकित वित्तीय वक्तव्यों में शामिल नहीं है, 2015 और 2019 के बीच 23% और कोविड के पहले वर्ष, 2020 में, 18% तक गिर गया। उन्होंने कहा कि "मुझे उम्मीद है कि बेहतर प्रबंधन, अधिक प्रभावी नियंत्रण और अधिक पारदर्शिता की सही दिशा में उठाए जा रहे कदमों से विश्वसनीयता बहाल करने में मदद मिलेगी।"

उन्होंने कहा कि इस अर्थ में बजट में सबसे स्पष्ट आंकड़े लागत में कमी है। “2019 की तुलना में, हमने सभी व्यय मदों को अलग-अलग डिग्री तक घटा दिया है। हमने यात्रा और आयोजनों में 6.2 मिलियन यूरो की कमी की है, जो पिछले वर्ष की तुलना में 75% कम है। एक अन्य वस्तु जिसे अनुचित रूप से 'वाणिज्यिक' कहा जाता है, को 4.9 मिलियन यूरो कम कर दिया गया। रख-रखाव के कई कार्यों को स्थगित कर दिया गया है, जिसके परिणामस्वरूप € 4.6 मिलियन की कमी हुई है। धर्मशालाओं ने भी अपनी कमर कस ली है और अपने खर्चों में 4 मिलियन यूरो की कमी की है। एकमात्र अध्याय जो कम नहीं हुआ है, वह है कर, जिनका भुगतान पिछले वर्ष की तरह व्यावहारिक रूप से 18.8 मिलियन यूरो किया गया है। इसके अलावा, "हम सभी जो परमधर्मपीठ और संबंधित संस्थानों में सेवा करते हैं, हमें त्याग करने, वेतन कम करने या न बढ़ाने के लिए कहा गया है ... उनकी इच्छा है कि आर्थिक स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए, पोप के बर्खास्त न करने के सही निर्णय को बनाए रखते हुए, और कर्मचारियों में अधिक प्रेरणा उत्पन्न करने के लिए, दीर्घकालिक दृष्टि के साथ एक योजना बनाना और पेशेवर विकास और प्रशिक्षण कार्यक्रमों के साथ एक कार्य नीति बनाना उपयोगी होगा।”

 

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24 July 2021, 15:15