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बाल-रोग विशेषज्ञों संग संत पापा बाल-रोग विशेषज्ञों संग संत पापा  

संत पापा का बाल-रोग विशेषज्ञों को संदेश

संत पापा ने वाटिकन के परमाध्यक्षों के सभागार में इटली के बाल-रोग विशेषज्ञों के संघ से मुलाकात करते हुए उन्हें अपना संदेश दिया।

दिलीप संजय एक्का-वाटिकन सिटी

संत पापा ने संघ से सभी सद्स्यों का स्वागत करते हुए कहा कि इतने सालों के अनुभव के कारण आप 5,500 से अधिक बाल-रोगी विशेषज्ञों के परिवारों की देख-रेख करते और उन्हें अपनी व्यवसायिक सेवा प्रदान करने में सक्षम हैं। संघ ने प्रथम चरण में ही अपनी एक विशिष्ट पहचान बनाई है जहाँ आप ने राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा की पहल के साथ-साथ जनसमान्यों को स्वस्थ्य के संबंध में और भी कई सेवाएँ उपलब्ध कराई हैं। आप ने बच्चों और युवाओं के स्वास्थ्य के संबंध में विशेष ध्यान दिया है।

जीवन का महत्व

संत पापा ने कहा कि जन्म से लेकर किशोरावस्था तक जिस तरह आप बच्चों की सेवा करते हैं जो आप की सेवाकार्य को अति मूल्यवान बनाता और मानव जीवन के महत्व को दिखलाता है। इस कार्य हेतु मानव शरीर से संबंधित एक विशेष ज्ञान की जरुरत है। यह अपने में एक विशेष और गहरे प्रशिक्षण के अलावे अपने को सदैव नवीन बनाने की मांग करता है जिससे आप लोगों को विशेषकर छोटे बच्चों को उत्तम सेवा प्रदान कर सकें।

आपके निष्ठापूर्ण कार्य, प्रशिक्षण और शोध ने आप के संघ को एक वैज्ञानिक समाज का दर्जा दिया है। आप निरंतर अपने कार्य को इसी गम्भीरता और समर्पण के साथ करते रहें। संत पापा ने संघ से सदस्यों को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि आप समाज की असमानतापूर्ण स्थिति से प्रभावित हुए बिना सभों को अच्छी सेवा दें।

येसु आप का आदर्श

आप येसु को अपने आर्दश के रुप में देखते हुए मानवता की सेवा हेतु अपने को दें। सुसमाचार के वे अध्याय जहाँ येसु बीमारों की सुधि लेते हैं आप के लिए प्रेरणा का स्रोत बनें। आप बच्चों की अपेक्षा उऩके माता-पिता से अधिक वार्ता करते हैं जो आप को चिकित्सक विशेषज्ञों के रुप में देखते और अपनी प्रिय संतानों को विश्वास के साथ आपके हाथों में सौंपते हैं। बच्चों के साथ पेश आने में आप येसु ख्रीस्त की बातों को ध्यान में रखें जो ईश्वरीय राज्य के अधिकारी हैं।

संत पापा ने कहा,“आप केवल आज के अपने मरीज की न सोचें, लेकिन कल की भी चिंता करें। केवल अपनी मरीज की चिंता नहीं बल्कि दूसरों की भी चितां करें, जो आप से दूर भविष्य में आप के पास आने वाले हैं।” ऐसा सोचना आप को सही रुप में, पूरे मन और दिन से सच्चे प्रेरितिक कार्य में संलग्न करेगा। ऐसा करने के द्वारा आप ख्रीस्तीयता का साक्ष्य प्रस्तुत करते हैं क्योंकि आप सुसमाचार के मूल्यों को अपने जीवन में जीते और कलीसिया के साथ अपने को संयुक्त करते हैं।

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21 March 2019, 14:48