प्रवचन देते हुए संत पापा फ्राँसिस प्रवचन देते हुए संत पापा फ्राँसिस  (ANSA)

आगमन विश्वास को शुद्ध करने का समय है,संत पापा

संत पापा ने प्रवचन में कहा कि आगमन काल बेथलेहेम में येसु के जन्म को पूरी तरह से समझने और ईश्वर के पुत्र के साथ व्यक्तिगत संबंध विकसित करने का अवसर है।

माग्रेट सुनीता मिंज-वाटिकन सिटी

वाटिकन सिटी, सोमवार, 3 दिसम्बर 2018 (रेई): संत पापा फ्राँसिस ने सोमवार 3 दिसम्बर को वाटिकन स्थित अपने निवास संत मर्था के प्रार्थनालय में प्रातःकालीन यूखारिस्तीय समारोह का अनुष्ठान किया। मिस्सा के दौरान अपने प्रवचन को उन्होंने आगमन काल के ‘तीन पहलुओं’- अतीत, वर्तमान और भविष्य पर केंद्रित किया। उन्होंने कहा,“आगमन आत्मा को शुद्ध करने तथा  इस शुद्धिकरण के साथ विश्वास में बढ़ने का सही समय है।"

संत पापा ने आज के सुसमाचार पाठ (मत्ती 8.5-11) पर चिंतन किया जहाँ कापरनाहूम में येसु की मुलाकात शतपति से हुई, जिसने अपने नौकर के लिए मदद मांगी जो लकवाग्रस्त था और अपने बिस्तर पर घोर पीड़ा सह रहा था। संत पापा ने कहा कि आज भी दूसरों की मदद हेतु अपने विश्वास को उपयोग में ला सकते हैं परंतु विश्वास की "जीवंतता" को भूलकर हम इसके आदी हो जाते हैं तो हम उस विश्वास की ताकत, विश्वास की नवीनता को खो देते हैं, जो हमेशा नवीकृत होती है।"

क्रिसमस सांसारिक नहीं

अपने प्रवचन में संत पापा ने जोर देते हुए कहा कि आगमन का पहला आयाम अतीत है, "स्मृति का शुद्धिकरण": हमें यह याद रखनी चाहिए कि पहले क्रिसमस का पेड़ पैदा नहीं हुआ", जो निश्चित रूप से एक "सुंदर संकेत" है, लेकिन क्रिसमस में "येसु मसीह पैदा हुए थे।" हमारे मुक्तिदाता येसु मसीह हमें बचाने इस दुनिया में आये। इसी की खुशी हम मनाते हैं। परंतु इस त्योहार को सांसारिक तौर पर मनाने का डर बना रहता है, अर्थात हम खानपान और उपहार तक ही सीमित हो जाते हैं जबकि यह पारिवारिक त्योहार येसु में केंद्रित होना चाहिए।

आशा का शुद्धीकरण

संत पापा ने कहा, निशचित रुप से आगमन "ईश्वर के साथ मुलाकात करने के लिए हमें तैयार करता है साथ ही हमारी आशा को भी शुद्ध करता है।"

येसु जब हमारे पास आयेंगे तो हमसे व्यक्तिगत रुप से मुलाकात करेंगे और हमसे हमारे जीवन के बारे पूछेंगे। आज हम इस मिस्सा बलिदान में येसु से व्यक्तिगत मुलाकात करेंगे। हम 2000 साल पहले येसु के जन्म की याद करते हैं। जब वे वापस आयेंगे, तो हमारी उनसे व्यक्तिगत मुलाकात होगी। यह आशा को शुद्ध करेगा।

हमारे दिल पर दस्तक

संत पापा ने सभी विश्वासियों को अपने दैनिक जीवन की चिंताओं के बावजूद, विश्वास के आयाम को बढ़ाने के लिए आमंत्रित किया। उन्होंने कहा, “वास्तव में, हमारा ईश्वर "आश्चर्य का ईश्वर" है और ख्रीस्तियों को हर दिन स्वर्गीय पिता के संकेत को देखना चाहिए। वे हमसे बातें करने के लिए हमारे दिल पर दस्तक देते हैं।”

संत पापा ने विश्वास के तीसरे आयाम सतर्कता को शुद्ध करने के बारे में कहा कि सतर्कता और प्रार्थना आगमन के दो शब्द हैं; क्योंकि मसीह बेतलेहेम में इतिहास में आये थे; वे दुनिया के अंत में और प्रत्येक के जीवन के अंत में भी आयेंगे। परंतु प्रभु पवित्र आत्मा की प्रेरणा द्वारा हर दिन, हर पल, हमारे दिल में आते हैं।

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03 December 2018, 17:17
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