अफगनिस्तान के प्रवासी बच्चे अफगनिस्तान के प्रवासी बच्चे 

विश्व शरणार्थी दिवस: प्रवासियों की सुरक्षा और समर्थन हेतु आह्वान

20 जून, विश्व शरणार्थी दिवस प्रवासियों और शरणार्थियों की दुर्दशा पर प्रकाश डालता है और उन लोगों की रक्षा एवं समर्थन करने का आह्वान करता है जो पलायन करने के लिए मजबूर हैं।

माग्रेट सुनीता मिंज-वाटिकन सिटी

वाटिकन सिटी, सोमवार, 21 जून 2021(वाटिकन न्यूज) : इस हफ्ते, 40 से अधिक अफ्रीकी प्रवासियों को बचाया गया था, जब उनकी नाव स्पेन के कैनरी द्वीप समूह में फँस गई थी। लेकिन इनमें से कम से कम चार प्रवासियों, जिनमें एक युवक और एक गर्भवती महिला शामिल हैं, को अपनी जान गवांनी पड़ी।

यह एक और त्रासदी थी क्योंकि लोग बेहतर जीवन की तलाश में समुद्र के खतरनाक रास्ते से यात्रा करना जारी रखते हैं।

कई पलायन को मजबूर

20 जून को मनाए जाने वाले विश्व शरणार्थी दिवस से पहले, संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी (यूएनएचसीआर) ने गुरुवार को घोषणा की कि अभूतपूर्व संख्या में लोगों को अपने घरों से भागने के लिए मजबूर किया गया है।

इस विश्व दिवस को चिह्नित करते हुए एक बयान में, संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी के उच्चायुक्त, फिलिपो ग्रांडी ने कहा कि "82.4 मिलियन से अधिक पुरुषों, महिलाओं और बच्चों को अपने देश में युद्ध, हिंसा और उत्पीड़न का सामना करना पड़ा है। जबकि हममें से बाकी लोगों ने सुरक्षित रहने के लिए पिछले साल का अधिकांश समय घर पर बिताया, उन्हें जीवित रहने के लिए अपने घरों से भागना पड़ा।”

प्रवासियों और शरणार्थियों की सुरक्षा

उन्होंने कहा कि विश्व शरणार्थी दिवस, "राजनेताओं को संघर्ष और संकटों को रोकने और हल करने के लिए एक स्पष्ट अनुस्मारक के रूप में कार्य करना चाहिए। लोगों की जाति, राष्ट्रीयता, विश्वास या अन्य विशेषताओं के बावजूद उनकी रक्षा करना अनिवार्य है।"

संयुक्त राष्ट्र उच्चायुक्त ने यह भी कहा कि "पिछले कई महीनों, महामारी के समय में हमने देखा है कि शरणार्थी योग्य होने पर भी और अंतर्राष्ट्रीय सुरक्षा एवं समर्थन का अधिकार रखते हुए भी, उन्हें उनके मेजबान समुदायों के पास वापस भेज दिया गया।”

श्री ग्रांडी ने कहा कि विश्व शरणार्थी दिवस हमारे समुदायों और दुनिया भर में शरणार्थियों के साथ एकजुटता व्यक्त करने का अवसर प्रदान करता है और पलायन के लिए मजबूर लोगों द्वारा किए गए अभियान, दृढ़ संकल्प और योगदान के लिए श्रद्धांजलि अर्पित करता है।

क्षेत्रों में प्रवेश निषेध

इस वर्ष विश्व शरणार्थी दिवस की 20वीं वर्षगांठ है। यह 1951 के शरणार्थी सम्मेलन की 70वीं वर्षगांठ भी है।

चूंकि ये दोनों प्रमुख तिथियां सुर्खियों में आती हैं, कारितास यूरोप चिंतित है कि यूरोपीय देश "अपने क्षेत्रों में तेजी से पहुंच को बंद कर रहे हैं, जिसमें यूरोप में बेहतर जीवन और सुरक्षा चाहने वाले लोगों के प्रति तीव्र हिंसा और अवैध पुशबैक शामिल है।"

"कारितास यूरोप के नीति और वकालत अधिकारी लीला बोडेक्स कहते हैं, "हम देखते हैं कि दुनिया में इन सभी लोगों को सुरक्षा की आवश्यकता है, हम यह भी देखते हैं कि यूरोप अपने क्षेत्रों तक पहुंच को बंद करने की कोशिश कर रहा है। लोगों को अपने क्षेत्रों में आने से रोकने के लिए कई अलग-अलग तरीकों का उपयोग करके शरण तक पहुंच को बंद कर दिया जाता है।

 सुश्री बोडेक्स ने नोट किया कि एक मामला बाल्कन रास्ता है, जिसे विशेष रूप से क्रोएशिया और बोस्निया-हर्जेगोविना के बीच की सीमाओं पर देखा जाता है। ये लोग व्यवस्थित हिंसा, अपमान और पीछे धकेलने का अनुभव कर रहे हैं। कुछ लोगों को सीमा पार करने की कोशिश में बीस से अधिक बार पीछे धकेला गया है।

भूमध्य - सागर

नीति और वकालत अधिकारी ने कहा, "चिंता का एक अन्य क्षेत्र  भूमध्य सागर है।  हमने देखा है कि कई वर्षों से सागर पार करते वक्त लोग मर रहे हैं, पूरी उदासीनता के साथ समुद्र में गायब हो रहे हैं।"

कारितास यूरोप के लिए एक अतिरिक्त चिंता यह है कि भूमध्य सागर को पार करने की कोशिश करने वाले इन लोगों में से कई लोगों को जबरन लीबिया लौटाया जा रहा है।"

2021 में 13000 से अधिक देश लौट गये। सुश्री बोडेक्स का कहना है कि इस बात के व्यापक प्रमाण हैं कि "उन्हें नज़रबंदी, बलात्कार एवं हिंसा का सामना करना पड़ेगा और उनमें से कई को वास्तव में बेचा भी जाएगा।"

नीति निर्माताओं से अपील

इस विश्व शरणार्थी दिवस पर, कारितास यूरोप नीति निर्माताओं को शरण के अधिकार और लोगों की गरिमा की रक्षा करने और दीवारों के निर्माण के बजाय मानव गतिशीलता को सुविधाजनक बनाने के लिए एक स्पष्ट आह्वान जारी कर रहा है।

सुश्री बोडेक्स कहती हैं, "हम संत पापा फ्राँसिस के संदेश को प्रतिध्वनित करते हैं कि हमें 'उदासीनता के वैश्वीकरण' को चुनौती देने की आवश्यकता है। इसलिए हम चाहते हैं कि यूरोपीय देश प्रवासियों की रक्षा, स्वागत, बढ़ावा और एकीकरण करें। हमारे लिए यह महत्वपूर्ण है कि प्रवासियों के यूरोप पहुंचने के लिए सुरक्षित और नियमित रास्ते उपलब्ध हों।”

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21 June 2021, 15:28