एक बुजूर्ग की मदद करती हुई एक महिला एक बुजूर्ग की मदद करती हुई एक महिला 

जर्मनी में जीवन की देखभाल हेतु "जीवन के लिए सप्ताह"

जर्मनी की ख्रीस्तीय कलीसियाएँ 17-24 अप्रैल को जीवन के लिए वार्षिक सप्ताह मनानेवाले हैं जिसमें पीड़ाहर देखभाल एवं मरणासन्न पर पड़े लोगों के लिए प्रेरितिक मदद के महत्व पर जोर दिया जाएगा।

उषा मनोरमा तिरकी-वाटिकन सिटी

जर्मनी, शनिवार, 10 अप्रैल 2021 (वीएनएस)- जर्मनी की ख्रीस्तीय कलीसियाएँ जीवन के लिए वार्षिक सप्ताह में मरणासन्न पर पड़े लोगों या असाध्य रोग से पीड़ित लोगों पर ध्यान केंद्रित करेंगीं।

जीवन के लिए वार्षिक सप्ताह की विषयवस्तु है, "मृत्यु में जीना", सप्ताह को 17-24 अप्रैल को औग्सबर्ग में मनाया जाएगा और इसका आयोजन काथलिक धर्माध्यक्षीय सम्मेलन ने जर्मनी के एवंजेलिकल कलीसिया के साथ किया है।  

इच्छामृत्यु पर विवाद

विषयवस्तु को कोविड-19 महामारी के आलोक में चुना गया है किन्तु देश में संघीय संवैधानिक न्यायालय द्वारा पिछले साल एक विवादास्पद फैसले के बाद, इच्छामृत्यु के वैधीकरण पर विवाद के कारण भी लिया गया है।  

फरवरी 2020 में कार्लस्रुहे कोर्ट ने इच्छामृत्यु संघ को अनुमति दी थी जो एक कानून की घोषणा कर, लोगों को आत्महत्या करने की उनकी गतिविधियों को प्रचारित करने के लिए मदद करता है जिसे 2015 में असंवैधानिक रूप से बुंडेस्टाग (जर्मन संसद) द्वारा अनुमोदित किया गया था।

परिणामतः इस कानून को बदलने की जरूरत है और बुंडेसटाग से अगले सप्ताह इस मामले पर चर्चा करने की उम्मीद है। जनवरी के एक बयान में जर्मनी के धर्माध्यक्षों के प्रवक्ता मथियस कोप्प ने कहा था कि ख्रीस्तीय दृष्टिकोण से आत्महत्या में मदद देना नैतिक रूप से स्वीकार्य नहीं है।" उन्होंने कहा था कि "इन परिस्थितियों में जरूरत है मरने के लिए मदद नहीं देना बल्कि जीवन की संभावनाओं को विकसित करने में मदद देना।"

असाध्य रोग से पीड़ित लोगों की प्रेरितिक एवं पीड़ाहर देखभाल

इस प्रकार जीवन के सप्ताह का केंद्रविन्दु होगा असाध्य रोग से पीड़ित लोगों एवं मरने वालों की मदद पीड़हर देखभाल एवं प्रेरितिक सहायता के द्वारा देना।

सप्ताह का उद्घाटन 17 अप्रैल को 10.30 बजे औग्सबर्ग महागिरजाघर में एक ख्रीस्तीय एकता प्रार्थना के दौरान किया जायेगा। प्रार्थना सभा का संचालन जर्मन काथलिक धर्माध्यक्षों के अध्यक्ष लिमबर्ग के धर्माध्यक्ष जोर्ज बतजिंग और एवंजेलिकल धर्माध्यक्ष हेनरिक बेडफोर्ड स्ट्रोहन करेंगे। उनके साथ काथलिक धर्माध्यक्ष बेरत्राम मइयर और एवंजेलिकल धर्माध्यक्ष अलेक्स पिपेर भी भाग लेंगे।

जीवन की वैश्विक संस्कृति को बढ़ावा

इस दौरान जीवन के अंत पर नैतिक एवं प्रेरितिक निहितार्थ पर ऑनलाईन विचार-विमर्श किया जाएगा जिसमें कलीसिया के प्रतिभागी एवं नागरिक समाज के प्रतिनिधि भाग लेंगे।

धर्माध्यक्ष बतजिंग और धर्माध्यक्ष हेनरिक बेडफोर्ड स्ट्रोहम ने बतलाया कि हम प्रशामक एवं आश्रम की मदद को बढ़ाना चाहते हैं, साथ ही साथ, हमारे समाज में जीवन की वैश्विक संस्कृति को अधिक सुसंगत करना चाहते हैं।

जीवन के लिए ख्रीस्तीय सप्ताह को पहली बार 1994 में जारी किया गया था ताकि कलीसिया एवं वृहद समाज में, गर्भ से लेकर प्राकृतिक मृत्यु तक, हर मानव जीवन की प्रतिष्ठा के प्रति जागरूकता बढ़ाई जा सके।

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10 April 2021, 14:56